Kmsraj51 की कलम से…..
♦ मां-बाप से बेहतर आपकी खुशी कोई नहीं चाह सकता? ♦
समय आया है संभलने का,
मात-पिता की बात मानने का।
जज्बातों से काम चलेगा नहीं,
अब अनुभव काम आएगा।
मां-बाप से बेहतर आपकी खुशी कोई नहीं चाह सकता। अब समय आ गया संभल कर चलने का। संभल कर रहने का, चारों तरफ गिद्ध नजरे गड़ाए खड़े हैं। यह तुम्हें देखना है कि इनकी नजरों से खुद को कैसे सुरक्षित करें। हालांकि सभी ऐसे नहीं होते। परंतु कोई भी रिश्ता निभाने से पहले अपने माता-पिता से जरूर पूछ लेना चाहिए।उनके पास वर्षों का अनुभव होता है। तुम्हारा अच्छा- बुरा उनसे बेहतर कोई नहीं जान पाएगा और तुम्हारे लिए कौन कैसा साबित होगा उनकी पारखी नजरों से बच नहीं पाएगा। हालांकि ऐसा नहीं है कि अभिभावक मानेंगे नहीं उन्हें भी अपने बच्चों की खुशी का पता है।
बस उनका तरीका अलग है। जब तुम उनके सामने एक बेहतरीन जीवन साथी लाओगे भले ही एक बार मना कर दे पर कुछ समय के बाद मान भी जाएंगे। उन्हें समय चाहिए क्योंकि उन्हें भी तो अपनी जांच-पड़ताल करनी होती है। अगर नहीं मान रहे तो, उनके पीछे का कारण पहचानो। पूछो शायद ठीक हो अगर गलत समझ रहे हैं तो समझाए। जिसने जीवन के इतने कष्ट सहन कर आपको पाला-पोसा भला कैसे वे आपका बुरा चाहेंगे। बस वे चाहते हैं हमारे बच्चों का जीवन खराब नहीं हो। आपकी खुशी में ही उनकी खुशी है वह सिर्फ और सिर्फ आपको खुश देखना चाहते हैं।
आजकल यह बात आम हो गई है कि बच्चे आराम से बोल देते हैं यह हमारा जीवन है हम अपने हिसाब से जिएंगे। परंतु जिन्होंने आप को जन्म दिया आपको पाला-पोसा उनका भी तो कुछ हक है आप पर। भला कौन ऐसा मात-पिता है जो अपने बच्चों का जीवन बर्बाद कर देगा। उन्हें कष्ट दे देगा। हमेशा आपका भला ही चाहेंगे।
उन्होंने तुम्हें बचपन से देखा है। पढ़ा-लिखा कर अच्छा जीवन इसलिए दिया है ताकि आगे का भविष्य भी आपका सुखद रहे। आप जीवन में ऊंचाइयों तक जाओ। आपकी खुशी के लिए वह हमेशा तत्पर रहते हैं। उन्हे चाहे कितना ही कष्ट क्यों ना सहन करना पड़े उनका मकसद होता है कि आपकी खुशी सर्वप्रथम हो। उन्होंने जीवन में जो कड़वे अनुभव सहन किए हैं बस उन्हीं से आप को दूर रखना चाहते हैं।
वे नहीं चाहते उनके बच्चे जीवन में दुखद अनुभव से गुजरे और उनके जीवन में उदासी छाए। माता-पिता यही चाहते हैं हमारे बच्चे का आगे का जीवन बहुत ही खुशहाली और प्रेम-पूर्वक से बीते। इसलिए हमेशा वे एक ऐसे रिश्ते में आपको जोड़ना चाहते हैं जो आपके जीवन को सुखमय खुशहाल बनाएं। बाकी सब का समझने का नजरिया अलग-अलग होता है।
♦ सीमा रंगा इन्द्रा जी – हरियाणा ♦
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- “श्रीमती सीमा रंगा इन्द्रा जी“ ने, बहुत ही सरल शब्दों में सुंदर तरीके से इस लेख के माध्यम से समझाने की कोशिश की है — माता- पिता बच्चे के प्रथम शिक्षक या गुरु होते है। माता-पिता बच्चे को जन्म ही नहीं देते बल्कि वे उन्हे पाल-पोषकर बड़ा करते है। माता-पिता एक बच्चे को बोलना, चलना, तथा उन्हे सभी संस्कार सिखाते है। हमे अपने माता पिता द्वारा बताये गये रास्ते पर चलना चाहिए। वे नहीं चाहते उनके बच्चे जीवन में दुखद अनुभव से गुजरे और उनके जीवन में उदासी छाए। माता-पिता यही चाहते हैं हमारे बच्चे का आगे का जीवन बहुत ही खुशहाली और प्रेम-पूर्वक से बीते। इसलिए हमेशा वे एक ऐसे रिश्ते में आपको जोड़ना चाहते हैं जो आपके जीवन को सुखमय खुशहाल बनाएं। बाकी सब का समझने का नजरिया अलग-अलग होता है।
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यह लेख (मां-बाप से बेहतर आपकी खुशी कोई नहीं चाह सकता?) “श्रीमती सीमा रंगा इन्द्रा जी“ की रचना है। KMSRAJ51.COM — के पाठकों के लिए। आपकी लेख, कवितायें व कहानी सरल शब्दो में दिल की गहराइयों तक उतर कर जीवन बदलने वाली होती है। मुझे पूर्ण विश्वास है आपकी कविताओं, कहानी और लेख से जनमानस का कल्याण होगा। आपकी लेखन क्रिया यूं ही चलती रहे।
आपका परिचय आप ही के शब्दों में:—
मेरा नाम सीमा रंगा इंद्रा है। मेरी शिक्षा बी एड, एम. ए. हिंदी। व्यवसाय – लेखिका, प्रेरक वक्ता व कवयित्री। प्रकाशन – सतरंगी कविताएं, देश के विभिन्न पत्र-पत्रिकाओं में कविताएं व लेख, दैनिक भास्कर, दैनिक भास्कर बाल पत्रिका, अमर उजाला, संडे रिपोर्टर, दिव्य शक्ति टाइम्स ऑफ़ डेजर्ट, कोल्डफीरर, प्रवासी संदेश, वूमेन एक्सप्रेस, इंदौर समाचार लोकांतर, वूमेन एक्सप्रेस सीमांत रक्षक युगपक्ष, रेड हैंडेड, मालवा हेराल्ड, टीम मंथन, उत्कर्ष मेल काव्य संगम पत्रिका, मातृत्व पत्रिका, कोलकाता से प्रकाशित दैनिक पत्रिका, सुभाषित पत्रिका शब्दों की आत्मा पत्रिका, अकोदिया सम्राट दिव्या पंचायत, खबर वाहिनी, समतावादी मासिक पत्रिका, सर्वण दर्पण पत्रिका, मेरी कलम पूजा पत्रिका, सुवासित पत्रिका, 249 कविता के लेखक कहानियां प्रकाशित देश के अलग-अलग समाचार पत्रों में समय-समय पर।
सम्मान पत्र -180 ऑनलाइन सम्मान पत्र, चार बार BSF से सम्मानित, डॉक्टर भीमराव अंबेडकर सोसायटी से सम्मानित, नेहरू युवा केंद्र बाड़मेर से सम्मानित, शुभम संस्थान और विश्वास सेवा संस्थान द्वारा सम्मानित, प्रज्ञा क्लासेस बाड़मेर द्वारा, आकाशवाणी से लगातार काव्य पाठ, सम्मानित, बीएसएफ में वेलफेयर के कार्यों को सुचारु रुप से चलाने हेतु सम्मानित। गोल्डन बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड, प्रेसिडेंट ग्लोबल चेकर अवार्ड।
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